19 April 2022 06:05 PM
जोग संजोग टाइम्स,
जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने मंगलवार को पीबीएम एवं जिला अस्पताल में औषधि वितरण केन्द्रों सहित विभिन्न व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया। अस्पतालों में भर्ती मरीजों एवं उनके परिजनों से व्यवस्थाओं के संबंध में फीडबैक भी लिया।
जिला कलक्टर ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा सभी श्रेणी के राजकीय चिकित्सा संस्थानों में 1 अप्रैल से आईपीडी और ओपीडी सुविधाओं को पूर्णतया निःशुल्क कर दिया है। इसके तहत ओपीडी और आईपीडी रजिस्ट्रेशन शुल्क, ओपीडी में आने वाले तथा आईपीडी में भर्ती मरीजों को समस्त दवाईयां और राजकीय चिकित्सा संस्थानों में जांचें निशुल्क कर दी गई हैं। इनमें एमआरआई और सीटी स्कैन जैसी महंगी जांचें भी शामिल हैं।
ऐसे में यह सुनिश्चित किया जाए कि प्रत्येक मरीज को आवश्यकता के अनुसार इनका त्वरित लाभ मिले। किसी भी मरीज को पर्ची से लेकर दवा और जांच के लिए किसी भी प्रकार का शुल्क नहीं देना पड़े। यदि ऐसा पाया गया तो संबंधित के विरूद्ध सख्त अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि दवा वितरण केन्द्रों और अस्पताल के प्रमुख स्थानों पर इससे संबंधित बोर्ड लगाए जाएं तथा इसका व्यापक प्रचार-प्रसार हो।
उन्होंने अस्पताल परिसरों में साफ-सफाई सहित सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद रखने के निर्देश दिए तथा यहां भर्ती मरीजों से व्यवस्थाओं के संबंध में बातचीत की। उन्होंने राज्य सरकार द्वारा मरीजों के लिए प्रारम्भ की गई सुविधाओं के बारे में बताया। इस दौरान मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बीएल मीणा सहित अन्य चिकित्सक साथ रहे।
जोग संजोग टाइम्स,
जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने मंगलवार को पीबीएम एवं जिला अस्पताल में औषधि वितरण केन्द्रों सहित विभिन्न व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया। अस्पतालों में भर्ती मरीजों एवं उनके परिजनों से व्यवस्थाओं के संबंध में फीडबैक भी लिया।
जिला कलक्टर ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा सभी श्रेणी के राजकीय चिकित्सा संस्थानों में 1 अप्रैल से आईपीडी और ओपीडी सुविधाओं को पूर्णतया निःशुल्क कर दिया है। इसके तहत ओपीडी और आईपीडी रजिस्ट्रेशन शुल्क, ओपीडी में आने वाले तथा आईपीडी में भर्ती मरीजों को समस्त दवाईयां और राजकीय चिकित्सा संस्थानों में जांचें निशुल्क कर दी गई हैं। इनमें एमआरआई और सीटी स्कैन जैसी महंगी जांचें भी शामिल हैं।
ऐसे में यह सुनिश्चित किया जाए कि प्रत्येक मरीज को आवश्यकता के अनुसार इनका त्वरित लाभ मिले। किसी भी मरीज को पर्ची से लेकर दवा और जांच के लिए किसी भी प्रकार का शुल्क नहीं देना पड़े। यदि ऐसा पाया गया तो संबंधित के विरूद्ध सख्त अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि दवा वितरण केन्द्रों और अस्पताल के प्रमुख स्थानों पर इससे संबंधित बोर्ड लगाए जाएं तथा इसका व्यापक प्रचार-प्रसार हो।
उन्होंने अस्पताल परिसरों में साफ-सफाई सहित सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद रखने के निर्देश दिए तथा यहां भर्ती मरीजों से व्यवस्थाओं के संबंध में बातचीत की। उन्होंने राज्य सरकार द्वारा मरीजों के लिए प्रारम्भ की गई सुविधाओं के बारे में बताया। इस दौरान मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बीएल मीणा सहित अन्य चिकित्सक साथ रहे।
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